मथुरा शहर कोतवाली इलाके के जनरल गंज मैनागढ़ क्षेत्र में स्थित अग्रसेन प्रिंटिंग प्रेस पर बुधवार को प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने छापा मारा। ED की टीम ने यहां 15 घंटे तक कार्यवाही की। इस दौरान घर से न तो किसी सदस्य को बाहर जाने दिया और न ही किसी को बाहर से अंदर आने दिया। प्रवर्तन निदेशालय की टीम देर रात अपनी कार्यवाही कर वापस चली गई। सुबह 6 बजे पहुंची टीम प्रवर्तन निदेशालय की टीम बुधवार की सुबह अचानक शहर कोतवाली इलाके के मैनागढ़ स्थित अग्रसेन प्रिंटिंग प्रेस पर पहुंची। नोएडा और लखनऊ नंबर की गाड़ियों से पहुंची टीम के सदस्य बिना रुके प्रेस के अंदर चले गए और दरवाजा बंद कर लिया। प्रेस के ऊपरी मंजिल पर मालिक कौशल अग्रवाल परिवार सहित रहते हैं। कल्पतरु ग्रुप से जुड़ा हो सकता है मामला प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने अग्रसेन प्रिंटिंग प्रेस पर कागजात खंगाले तो कौशल अग्रवाल से भी पूछताछ की। इस प्रेस पर वर्ष 2007 के आसपास कल्पतरु ग्रुप का अखबार छपता था। कल्पतरु ग्रुप फरह के चुरमुरा गांव के रहने वाले जयकृष्ण राणा का था। जयकृष्ण राणा ने कंपनी के जरिए लोगों को अलग अलग तरीके से करोड़ों रुपए का चुना लगाया था। बाद में फरह पुलिस और प्रशासन ने का ग्रुप की 66 करोड़ से ज्यादा की संपत्ति जब्त की थी। 17 घंटे तक रुके रहे अधिकारी प्रिंटिंग प्रेस पर छपा मारने पहुंची प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारी यहां 17 घंटे से ज्यादा समय तक रहे। प्रवर्तन निदेशालय की टीम 3 गाड़ियों से पहुंची। यहां टीम ने गहनता से जांच की। ED की टीम ने छापे की कार्रवाई को पूरी तरह गोपनीय रखा। यहां तक कि इसकी सूचना स्थानीय पुलिस और प्रशासन को भी नहीं थी। प्रवर्तन निदेशालय की टीम देर रात जांच करने के बाद वापस लौट गई। 3 भाई करते हैं प्रिंटिंग प्रेस का संचालन शहर के मैनागढ़ इलाके में स्थित अग्रसेन प्रिंटिंग प्रेस को 3 भाई मिलकर चलाते हैं। कौशल अग्रवाल,मनमोहन और विवेक अग्रवाल के पिता ने इस प्रेस को कई वर्षों पहले लगाया था। यहां टीम जब छापा मारने पहुंची तो शुरुआत में लगा कि मामला आगरा के बिल्डर प्रखर गर्ग से जुड़ा हो सकता है। लेकिन बाद में चर्चा हुई कि यह छापा कल्पतरु ग्रुप से जुड़ा हुआ है।
