संभल हिंसा को दुबई में बैठकर शारिक साठा ने गुर्गो से अंजाम दिलाया। घटना के दौरान गोली लगने से चार लोगों की मौत हो गई। वहीं SIT नए भारतीय कानून की धारा 48 के अंतर्गत उसका नाम चार्जशीट में दाखिल कर सकती है। संभल हिंसा मामले में शारिक साठा गैंग के दो गुर्गे चार हत्याओं एवं विदेशी हथियार मुहैया कराने के मामले में एक गुर्गे को पुलिस ने जेल भेजा है। आपको बता दें कि बीती 19 नवंबर को हिंदू पक्ष की ओर से सिविल सीनियर डिवीजन चंदौसी कोर्ट में दावा किया गया कि संभल की शाही जामा मस्जिद श्री हरिहर मंदिर है। 19 नवंबर की शाम को मस्जिद का पहले चरण का सर्वे हुआ और दूसरे चरण का सर्वे 24 नवंबर को हुआ। मस्जिद में चल रहे सर्वे के दौरान हजारों की संख्या में इकट्ठा हुए लोगों ने पुलिस पर पथराव-फायरिंग शुरू कर दी, जिसमें चार मौतें हो गई। वहीं उग्र भीड़ ने गाड़ियों को फूंक दिया। वहीं पुलिस दो हत्यारोपी एवं तीन महिला सहित कुल 79 उपद्रवियों को गिरफ्तार करके जेल भेज चुकी है। साक्ष्य के अभाव में एक महिला को कोर्ट ने बरी कर दिया है। संभल हिंसा के दौरान अयान, बिलाल, नईम और कैफ की मौत हुई थी। एसपी कृष्ण विश्नोई ने बताया कि जेल गए तीनों गुर्गे हिंदू पक्ष की अधिवक्ता विष्णुशंकर जैन और साथियों की हत्या करके मस्जिद का सर्वे रुकवाना चाहते थे और संभल में लंबे समय की कर्फ्यू लगवाना चाहते थे जिससे कि उनका अवैध धंधा फिर से चल सके। पुलिस अधीक्षक कृष्ण विश्नोई ने बताया कि कोई भी व्यक्ति भारत गणराज्य की सीमा से बाहर बैठकर भारत में किसी भी गतिविधि को लीगल एक्टिविटी को अंजाम देता है। फॉर एग्जांपल कोई X व्यक्ति हैं वह किसी अन्य देश में बैठकर अन्य व्यक्ति को बताता है कि आप को वहां जाकर मर्डर करना है उसमें X और Y दोनों काउंटेबल वीनस सेक्शन है वह इस बात को परमिट करता है। गुलाम की गिरफ्तारी के बाद में अब शारिक साठा के खिलाफ सेक्शन 48 बीएनएस में विधिक कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
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