काशी हिंदू विश्वविद्यालय के सुरक्षा पर डाले गये RTI का जवाब सामने आया है। वाराणसी की एक महिला ने 12 नवंबर को आरटीआई के तहत बीएचयू कैंपस के साथ ही अस्पताल, ट्रॉमा सेंटर में चोरी, छिनैती के साथ ही छेड़खानी की घटनाओं से जुड़ी जानकारी मांगी थी। 16 दिसंबर को विश्वविद्यालय के चीफ प्रॉक्टर ऑफिस की ओर से जानकारी दी गई है। इसमें बताया गया है कि अक्तूबर 2023 से नवंबर 2024 तक बीएचयू परिसर में 291 चोरी की घटनाएं हुई हैं। इसमें सबसे अधिक दिसंबर 2023 में 35 और पिछले महीने नवंबर में 23 घटनाओं का जिक्र है। छात्रों ने सुरक्षा व्यवस्था पर खड़ा किया सवाल छात्रों ने सवाल खड़ा करते हुए पूछा कि आखिर बीएचयू परिसर में चौकस सुरक्षा व्यवस्था रहे, इसके लिए सालाना करीब 10 करोड़ रुपये खर्च किए जाते हैं। परिसर में 700 से अधिक सुरक्षाकर्मी हैं, अस्पताल की सुरक्षा में करीब 50 से अधिक बाउंसर भी नजर आते हैं। जगह-जगह सीसी कैमरे लगाए जाने, गाड़ियों से पेट्रोलिंग कराने का दावा भी किया जा रहा है। इसके बाद भी न तो चोरियां रुक रही हैं और न ही छिनैती की घटनाओं पर अंकुश लग पा रहा है। चीफ प्राक्टर बोले बेहतर होगी सुविधा चीफ प्राक्टर का कहना है कि इन सभी घटनाओं की समीक्षा की गई है और जिन स्थल पर ज्यादा घटाएं हुई है उन मार्गों पर चौकसी बढ़ा दी गई है। उन्होंने कहा हमारी पेट्रोलिंग गाड़ी हमेशा पूरे कैंपस में घूमती रहती है। इसके अलावा हम पुलिस की भी मदद ले रहे हैं कोई भी घटना होती है तो तत्काल इसकी सूचना दी जाती है। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय के विभिन्न चौराहाओं पर सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। कुछ जगहों पर और लगाए जा रहे हैं जिससे कैंपस में होने वाले घटनाओं पर लगाम लगाया जा सके।