जमुई के खैरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में स्वास्थ्यकर्मियों की लापरवाही का मामला सामने आया है। जहां शनिवार को एक मृत नवजात के शव को स्वास्थ्यकर्मियों ने प्रसव कक्ष के सामने स्थित शौचालय के पास एक कार्टन में लावारिस छोड़ दिया, जिसे आवारा कुत्ते ने नोचकर उसके पेट को खा गया। घटना का खुलासा तब हुआ जब कैंडीह की एक महिला लकी देवी ने कुत्ते को शव को खाते देखा। बताया जा रहा है कि गुरुपुर निवासी लालू यादव की पत्नी पार्वती देवी(27) को प्रसव के लिए अस्पताल लाया गया था। जहां प्रसव के दौरान नवजात की मौत हो गई, जिसके बाद स्वास्थ्यकर्मियों ने बिना किसी सावधानी के शव को कार्टन में रख दिया। जब तक किसी को घटना की जानकारी मिली, तब तक कुत्ता नवजात के शव का लगभग 75 प्रतिशत हिस्सा खा चुका था। परिजनों ने अस्पताल में किया हंगामा मामले की गंभीरता को दर्शाता है कि प्रसव कक्ष, नर्स कक्ष और प्रसूता वार्ड शौचालय से मात्र तीन मीटर की दूरी पर स्थित हैं। जब मीडिया टीम मौके पर पहुंची, तो ड्यूटी पर तैनात जीएनएम पूनम देवी कैमरा देखकर भागने लगीं। बाद में उन्होंने अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ते हुए कहा कि शव परिजनों को सौंप दिया गया था। घटना के बाद मृतक के परिजनों ने अस्पताल में जमकर हंगामा किया। स्वास्थ्यकर्मियों की इस लापरवाही पर प्रभारी सिविल सर्जन ने जांच के आदेश दिए हैं। यह घटना स्वास्थ्य व्यवस्था की बदहाली और स्वास्थ्यकर्मियों की संवेदनहीनता को दर्शाती है। स्वास्थ्य कर्मियों पर लापरवाही का लगाया आरोप प्रसूता की मां सूमा देवी ने बताया कि नवजात के जन्म होने के बाद उसकी मौत की जानकारी दी गई थी और उसकी प्रसूता की भी हालत गंभीर बनी थी। जिस कारण वह प्रसूता के देखभाल कर रही थी और बच्चे को जीएनएम को दे दिया गया था। उन लोगों के द्वारा लापरवाही की गई है। चाहे जिसकी भी लापरवाही हो लेकिन बड़ी बात यह है कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खैरा में प्रसव कक्ष के अंदर जाकर एक आवारा कुत्ते के द्वारा नवजात के शव खा लिया जाता है और किसी भी स्वास्थ्य कर्मी को इसकी भनक तक नहीं लगती है। ऐसे में बड़ा सवाल उठता है कि यदि वहां प्रसव कराने पहुंचने वाली अन्य प्रसूता के बच्चे को भी आवारा कुत्तों के द्वारा अपना निवाला बनाया जा सकता है। नवजात की हेराफेरी को लेकर हमेशा विवाद में रहा अस्पताल बता दें कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खैरा हमेशा चर्चा में रहा है। कुछ महीने पहले ही वहां काम करने वाली एक महिला कर्मी पर बच्चे को बेचने और बदलने का मामला संज्ञान में आया था। हालांकि मामले की जानकारी के बाद वरिय पदाधिकारी द्वारा प्राथमिकी दर्जकर उसके खिलाफ कार्रवाई की गई थी। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खैरा के प्रभारी डॉक्टर अमित आनंद से बात की तो उन्होंने बड़ी ही बेतूका जवाब देते हुए बताया कि सड़ा- गला नवजात हुआ था। जिसे उनके परिजनों को सौंप दिया गया था और इसकी लिखित कागजात भी उन लोगों के पास है। लापरवाही उनके परिजन के द्वारा की गई है स्वास्थ्य कर्मियों के द्वारा कोई लापरवाही नहीं की गई है। मामले की जांच कर होगी कार्रवाई सिविल सर्जन डॉक्टर सैयद नौशाद अहमद ने बताया कि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खैरा में नवजात के शव को कुत्ते के द्वारा खाने की जानकारी मीडिया के जरिए हुई है। हमेशा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खैरा विवादों से घिरा रहा है। इस पर समय-समय पर कार्रवाई भी की गई है। कुत्ते के द्वारा नवजात के शव को खा जाना यह गंभीर मामला है केंद्र के प्रभारी को पूरे मामले की जांच कर दोषी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है।