सहारनपुर की एंटी करप्शन टीम ने थाना रामपुर मनिहारान में तैनात एक दरोगा को 20 हजार की रिश्वत लेते हुए अरेस्ट किया है। पीड़ित का आरोप है कि उसके भाई का पेड़ कटवाने को लेकर विवाद था। विपक्ष ने उसका नाम भी लिखवा दिया था। फिर से नाम कटवाने के नाम पर दरोगा 35 हजार मांग रहा था। थाना रामपुर मनिहारान में दरोगा जसवीर सिंह को एंटी करप्शन की टीम ने 20 हजार की रिश्वत लेते हुए अरेस्ट किया है। पीड़ित टेशन लाल सिंचाई विभाग में तैनात है। पीड़ित के भाई झल सिंह का जमीन के पेड़ कटवाने को लेकर गांव में विवाद हो गया था। दूसरे पक्ष ने झल सिंह और स्टेशन लाल का नाम भी लिखवा दिया था। 35 हजार की रिश्वत मांगी
टेशन लाल का आरोप है कि दरोगा जसवीर सिंह ने उसका नाम कटवाने के लिए 35 हजार की रिश्वत मांगी थी। टेशन लाल ने बताया कि उसके पास दरोगा का फोन गया था। पीड़ित ने बताया कि उसने दरोगा को बताया कि मैं मौके पर मौजूद नहीं था तो मेरा नाम फिर में क्यों लिखा हुआ गया है। मैं सिंचाई विभाग में सरकारी कर्मचारी हूं मेरा नाम कटवा दीजिए। दारोगा ने खेत से पेड़ कटवाने और फिर से नाम काटने के लिए 35 हजार रुपए की रिश्वत मांगी थी। आप है कि जब भी उसने 5 हजार की रिश्वत दे दी थी। शुक्रवार को पीड़ित 20 हजार लेकर थाने में पहुंचा था। पीड़ित ने सहारनपुर एंटी करप्शन को शिकायत की थी। इसके बाद एंटी करप्शन टीम ने दरोगा को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया। एंटी करप्शन की टीम आरोपी दारोगा जसवीर सिंह को थाना सदर बाजार लेकर आई है। दोनों पक्षों के बयान दर्ज कराई जा रहे हैं। वहीं मुकदमा करने की तैयारी भी की जा रही है। ये था मामला
टेशन लाल ने बताया कि मेरे भाई का जमीन को लेकर विवाद चल रहा है। मेरे भाई ने जमीन बेची थी। 4 साल पहले उसका बैनामा करा कर दिया था। भाई ने जमीन तो 5.45 बीघा बेची थी। भाई के नाम 6 बीघा है। उसमें से कुछ जमीन हमारे पास थी। पूरी जमीन में पेड़ लगे हुए थे, वह पेड़ हम काट रहे थे तो जिसे जमीन बेची थी। वो कहने लगा कि पेड़ क्यों काट रहे हो जबकि हम अपने पेड़ काट रहे थे। इसको लेकर दोनों में झगड़ा हो गया। मौके पर पुलिस आ गई और मामले को वहीं सुलझा दिया। खबर अपडेट हो रही है…..