धर्म की नगरी काशी में महाशिवरात्रि के पहले वीकेंड पर आस्था का महासैलाब उमड़ा है। देवाधिदेव महादेव के दर्शन को श्रद्धालु मंगला आरती के पहले से कतारबद्ध हैं। एक अनुमान के अनुसार आज भी काशी में 10 लाख से अधिक श्रद्धालु दर्शन-पूजन करेंगे। सड़कों पर सिर्फ आस्थावान नजर आ रहे हैं। सभी द्वारा से 3 किलोमीटर लंबी लाइन लगी हुई है। वहीं मंदिर परिसर की महाशिवरात्रि पर भव्य सजावट की गयी है गोदौलिया और मैदागिन चौराहे पर पैर रखने की जगह नहीं है। वाराणसी में हर गली और सड़क पर श्रद्धालु बाबा विश्वनाथ की तरफ बढ़ रहे हैं और कतारबद्ध रहे हैं। शनिवार से ही बढ़ने लगे थे श्रद्धालु
वीकेंड और लास्ट सटरडे की वजह से श्रध्दालू काशी में शनिवार से ही बढ़ने लगे थे। रात तक हालात यह हुए की विश्वनाथ धाम से मैदागिन चौराहे तक श्रद्धालु बाबा विश्वनाथ के दर्शन को आतुर और कतारबद्ध दिखे। 90 प्रतिशत लोग प्रयागराज में महाकुंभ का स्नान करने के बाद श्रीकाशी विश्वनाथ के दर्शन को पहुंचे हैं तो 10 प्रतिशत वो लोग हैं जो हर वर्ष महाशिवरात्रि पर देवाधिदेव महादेव का दर्शन करने आते हैं। मंगला आरती के पहले से कतारबद्ध हैं श्रद्धालु
मंदिर मार्ग पर भोर से ही श्रद्धालुओं की भीड़ काशी में उमड़ने लगी। प्रयागराज से लौटने वाले श्रद्धालु गंगा स्नान के साथ ही देवालयों और शिवालयों में दर्शन-पूजन कर रहे हैं। बाबा विश्वनाथ धाम और कालभैरव मंदिर में लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। दशाश्वमेध घाट, मान मंदिर घाट, त्रिपुर घाट, ललिता घाट, मणिकर्णिका घाट और काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की ओर हजारों श्रद्धालु अभी कतार में शामिल होने के लिए कतार लगाए हैं। 10 लाख से अधिक के दर्शन-पूजन करने का अनुमान
ट्रेनों के अलावा रोडवेज बस स्टैंड, प्राइवेट बस स्टाप, एयरपोर्ट और आसपास के अन्य रेलवे स्टेशनों पर भी यात्रियों की भीड़ है। वहीं 5 हजार से अधिक निजी वाहन देर रात तक शहर में पहुंच गए। सीमा से लेकर अंदर तक भारी भीड़ जुटी है, जिससे सड़कों पर जाम के हालात हैं। बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए धाम में लगभग प्रतिदिन 3 लाख श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। यह आंकड़ा शनिवार और रविवार में 10 लाख पार पहुंच रहा है।
लोहता में रोकी गयी ट्रेन, 4 किलोमीटर पैदल चलना पड़ा
श्रद्धालुओं की भीड़ को देखते हुए रेलवे ने शनिवार को दोपहर 12 बजे के बाद वाराणसी आने वाली दो ट्रेनों को लोहता स्टेशन पर शार्ट टर्मिनेट कर दिया। लोहता स्टेशन पर आवाजाही के कम साधन होने पर श्रद्धालुओं को शहर पहुंचने के लिए चार किलोमीटर पैदल चलना पड़ा। इससे श्रद्धालुओं को फजीहत हुई। रेल अधिकारियों की मानें तो बनारस स्टेशन पर यात्रियों के दबाव के चलते दो मेला स्पेशल ट्रेनों को लोहता में ही टर्मिनेट कर दिया गया। यात्रियों के परिजन बनारस स्टेशन पर इंतजार करते रहे और लोगों को लोहता से पैदल शहर पहुंचना पड़ा।
महाशिवरात्रि तक ऐसे ही शार्ट टर्मिनेट होगी ट्रेनें
रेलवे के अधिकारियों की मानें तो महाशिवरात्रि पर काशी में यात्रियों की आवाजाही बढ़ेगी। ऐसे में वाराणसी ट्रेन से पहुंचने वाले यात्रियों की संख्या को नियंत्रित करने के लिए ट्रेनें ऐसे ही जंक्शन के पहले के स्टेशनों पर शार्ट टर्मिनेट की जाएगी ताकि उतरने और चढ़ने वाले यात्रियों की भीड़ से बचा जा सके और। सभी सुगम यात्रा कर सकें।